एसजेवीएन का वर्ष 2040 तक 50 हजार मेगावाट बिजली उत्पादन का लक्ष्य: नंद लाल

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शिमला: सार्वजनिक क्षेत्र की बिजली उत्पादक कंपनी एसजेवीएन ने वर्ष 2040 तक अपनी स्थापित उत्पादन क्षमता के लक्ष्य को दोगुना कर 50 हजार मेगावॉट कर दिया है।

एसजेवीएन कें चेयरमैन और प्रबंध निदेशक नंद लाल शर्मा ने शुक्रवार को शिमला में आयोजित प्रेस वार्ता में बताया कि कंपनी ने अपने लक्ष्य को संशोधित किया है। इसके तहत 2023 तक 5,000 मेगावॉट, 2030 तक 25,000 मेगावॉट और 2040 तक 50,000 मेगावॉट स्थापित उत्पादन क्षमता का लक्ष्य है। वहीं वर्ष 2047 तक एसजेवीएन को 60 हजार मेगावाट कंपनी बनाने का लक्ष्य रखा गया है।

उन्होंने कहा कि यह संशोधन कई परियोजनाओं को शामिल करने और भारत तथा विदेशों में वृहत जलविद्युत परियोजनाओं के सफलतापूर्वक संचालन एवं क्रियान्वयन को देखते हुए किया गया है। इससे पहले एसजेवीएन ने वर्ष 2023 तक 5,000 मेगावॉट, 2025 तक 12,000 मेगावॉट और 2040 तक 25,000 मेगावॉट स्थापित बिजली उत्पादन क्षमता का लक्ष्य रखा था।

उन्होंने बताया कि संशोधित लक्ष्य को हासिल करने के लिए एसजेवीएन ने काम करना शुरू कर दिया है। कंपनी को जितने भी प्रोजेक्ट अवार्ड हुए हैं उसमें काम किया जा रहा है। शर्मा ने कहा कि एसजेवीएन की स्थापना 24 मई 1988 को हुई थी। एसजेवीएन स्टाॅक्स एक्सचेंजों में वर्ष 2010 में सूचीबद्ध हुआ।

उन्होंने कहा कि एसजेवीएन की यात्रा एक प्रोजेक्ट से शुरू हुई था और आज देश के 11 राज्यों में विद्युत परियोजनाओं को कार्यान्वित करने के अलावा एसजेवीएन नेपाल और भूटान में विद्युत परियोजनाएं बना रहा है। अभी एसजेवीएन की स्थापित क्षमता 2015.2 मेगावाट है। वर्तमान में एसजेवीएनकी कुल परियोजना पोर्टफोलियो 41028 मेगावाट है। एसजेवीएन का लक्ष्य वितीय वर्ष 2022-23 के लिए 8 हजार करोड़ रूपये के कैंपेक्स लक्ष्य को हासिल करना है।

नंदलाल शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार ने ऊर्जा सेक्टर को बढ़ावा देने के लिए काफी अच्छे निर्णय लिए हैं। उन्होंने कहा कि चिनाब बेसिन को डवेल्प करने के लिए प्रोजेक्ट एक ही डवेल्पर को देने की मांग उठाई थी। इसका फायदा सरकार और डवेल्पर दोनों को होगा। इससे प्रोजेक्ट की काॅस्ट कम हो जाएगी और प्रोजेक्ट का निर्माण भी जल्द होगा।

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