रविवार को होती है सूर्य देव की पूजा, जरूर पढ़ें ये मंत्र, सफलता चूमेगी आपके कदम

Suryadev-puja-1
0 0
Read Time:2 Minute, 54 Second

आज यानि रविवार के दिन भगवान सूर्य का पूजन किया जाता है. कई लोग सूर्य देवता को प्रसन्न करने के लिए रविवार के दिन व्रत-उपवास भी करते हैं. भगवान सूर्य को ब्रह्माण्ड की आत्मा कहा जाता है और यही एक ऐसे देवता है जो कि हर दिन प्रत्यक्ष दर्शन देते हैं. लोग अलग-अलग तरीकों से भगवान सूर्य की उपासना करते हैं और उन्हें जल चढ़ाते हैं. मान्यता है कि रविवार के दिन भगवान सूर्य का व्रत करना बेहद लाभकारी होता है|

गवान सूर्य की पूजा: कहा जाता है कि सूर्य के अशुभ प्रभाव को कम करने के लिए और सूर्य को बलवान बनाने के लिए रविवार का व्रत करना बहुत ही फलदायक है. इस व्रत को करने से आयु और सौभाग्य में वृद्धि होती है. साथ ही सर्व कामना सिद्धि भी प्राप्त होती है. यह व्रत चर्म और नेत्र आदि विकार नाशक भी है|

रविवार का व्रत किसी भी माह के शुक्ल पक्ष के प्रथम रविवार से प्रारंभ करे और एक वर्ष अथवा 21 या 51 रविवार तक करे.रविवार के दिन सुबह स्नान आदि करके लाल वस्त्र धारण करें एवं मस्तक पर लाल चन्दन का तिलक करे और तांबे के कलश में जल लेकर उसमे रोली, अक्षत, लाल पुष्प डालकर श्रद्धापूर्वक सूर्यनारायण को अर्ध्य प्रदान करे. साथ ही “ॐ ह्रां ह्रीं ह्रौं स: सूर्याय नम:” इस बीज मंत्र का यथाशक्ति जाप करे. इस दिन भोजन सूर्यास्त से पहले करे. भोजन में गेहूं की रोटी अथवा गेहूं का दलिया बनाये. भोजन से पूर्व भोजन का कुछ भाग मंदिर में दे या बालक-बालिका को देकर भोजन कराएं.

भोजन में कोई पकवान या स्वादिष्ठ खाना न ले. भोजन सामान्य से सामान्य ले. भोजन में नमक का प्रयोग कतई न करे. अंतिम रविवार को व्रत का उद्यापन करने का विधान है. उद्यापन में योग्य ब्राह्मण से हवन करवाये. हवन क्रिया के पश्चात योग्य दम्पति को भोजन कराकर लाल वस्त्र एवं यथेच्छा दक्षिणा प्रदान करे. इस प्रकार आपके सूर्य व्रत सम्पूर्ण माने जाएंगे|

Happy
Happy
0 %
Sad
Sad
0 %
Excited
Excited
0 %
Sleepy
Sleepy
0 %
Angry
Angry
0 %
Surprise
Surprise
0 %
en_USEnglish