नौकरी का झांसा देकर ठगी करने वाले क्लर्क पर मुकदमा दर्ज
ऋषिकेश: एम्स में नौकरी दिलाने के नाम पर झांसा देकर 16 लाख 83 हजार रुपये हड़पने वाले ऋषिकेश में तैनात कर्मचारी के विरुद्ध उत्तर प्रदेश के फतेहपुर में धोखाधड़ी का मामला दर्ज हुआ है। आरोपित ने पीड़ित को फर्जी ज्वाइनिंग लेटर थमाकर तीन दिन तक अपने कार्यालय बुलाकर वापस कर दिया था। पूर्व में भी ऐसे ही आरोप में यह क्लर्क सस्पेंड हो चुका है।
उत्तर प्रदेश कानपुर में फतेहपुर शहर के जयरामनगर खंभापुर मोहल्ला निवासी अनुराग सिंह गौर ने पुलिस को बताया कि शहर के पटेलनगर निवासी अर्पित सिंह ने उसे ऋषिकेश एम्स में नौकरी दिलाने के लिए आवेदन कराया था। आवेदन कराने के नाम पर अर्पित के पिता रविकरन सिंह ने उससे 50 हजार रुपये भी ऐंठ लिए थे। इसके बाद अर्पित सिंह ने अपने व सहयोगियों इंसाफ खान, अमित कुमार, प्रियंका गोसाई, धर्मेंद्र कुमार के खाते में 16 लाख 33 हजार रुपये मंगवाए। उसने रुपये खातों में भेज दिए।
कानपुर फतेहपुर के शहर कोतवाल अरुण कुमार चतुर्वेदी ने बताया कि पीड़ित अनुराग सिंह गौर पुत्र रज्जन सिंह की तहरीर मिलने पर अर्पित सिंह, उसके पिता रविकरन सिंह निवासी पटेलनगर कोतवाली व इनके सहयोगियों इंसाफ खान, अमित कुमार प्रिंयका गुसाई, धर्मेंद्र पर धोखाधड़ी कर 16 लाख 83 हजार रुपये गबन करने की रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। जांच के बाद आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।
इस मामले में एम्स ऋषिकेश के वरिष्ठ विधि अधिकारी प्रदीप कुमार पांडे ने बताया कि अर्पित सिंह एम्स ऋषिकेश का स्थाई कर्मचारी है। वह क्लर्क के पद पर कार्यरत हैं। एक अन्य मामले में कुछ समय पूर्व इस तरह की शिकायत मिलने पर उसे सस्पेंड कर दिया गया था। इसके बाद शिकायतकर्ता शिथिल पड़ गया। कानपुर फतेहपुर से जुड़े इस मामले की जानकारी अभी एम्स प्रशासन के पास नहीं है।