बाल संरक्षण समिति की बैठक में बाल हित के विषयों पर हुई चर्चा

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पिथौरागढ़: जिला बाल संरक्षण समिति की त्रैमासिक बैठक जिलाधिकारी रीना जोशी की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट स्थित वीसी कक्ष में संपन्न हुई। बैठक में बाल हित से संबंधित विभिन्न विषयों व मुद्दों पर चर्चा हुई। बैठक में अध्यक्ष सीडब्ल्यूसी लक्ष्मी भट्ट ने बताया कि अनुसूचित जाति एवं जनजाति के लिए बलुवाकोट स्थित आश्रम पद्धति विद्यालय में सुविधाओं का अभाव है। एक सिंग्ल पलंग पर तीन-तीन बच्चे सो रहे हैं। पेयजल की भी समस्मा है तथा विद्यालय में बक्से आदि फर्नीचर भी टूटा-फूटा है। जिस पर जिलाधिकारी ने उपजिलाधिकारी धारचूला को दूरभाष पर निर्देश दिये कि बलुवाकोट स्थित आश्रम पद्धति विद्यालय का स्थलीय निरीक्षण कर व्यवस्थाओं का जायजा लें।
बैठक में जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि करोना काल में अनाथ हुए बच्चों के विभिन्न प्रमाण पत्र बनाये जाने हैं। जिस पर जिलाधिकारी ने जिला कार्यक्रम अधिकारी को निर्देश दिये कि जिन बच्चों के प्रमाण पत्र बनाये जाने हैं उनकी सूची संबंधित उप जिलाधिकारियों एवं तहसीलदारों को उपलब्ध करा दी जाय ताकि उनके प्रमाण पत्र बन सके।
वहीं जिलाधिकारी ने समिति के सदस्यों को निर्देश दिये कि वे जनपद के जनजातीय बाहुल्य क्षेत्रों में जाकर बच्चों के अभिभावकों को बच्चों को नियमित रूप से विद्यालय भेजने अथवा देहरादून स्थित आश्रम पद्धति विद्यालय में भेजने हेतु प्रेरित करें।
उन्होंने समिति के सदस्यों से यह भी कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में कार्यक्रमों का आयोजन कर बच्चों के अभिभावकों को बाल अधिकारों की जानकारी प्रदान करें ताकि अभिभावक बाल  अधिकारों के प्रति जागरूक हो सके।
जिलाधिकारी ने समिति के सदस्यों से कहा कि बाल विवाह जैसे मामलों पर कड़ी नजर बनाये रखें। जनपद में बाल विवाह न होने दें। बैठक में मुख्य चिकित्साधिकारी एचएस हयांकी, जिला कार्यक्रम अधिकारी  संजय गौरव, जिला सिक्षा अधिकारी  प्राथमिक एसपी सेमवाल, अध्यक्ष सीडब्ल्यूसी लक्ष्मी भट्ट, अर्पण संस्था से बीना, कार्ड संस्था से हेमा कापड़ी आदि उपस्थित थे।

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