दूसरे दौर की वार्ता से पहले बिजली कर्मचारियों की हुंकार, कहा- कार्रवाई हुई तो जेल भरो आंदोलन होगा शुरू

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लखनऊ: उत्तर प्रदेश में बिजली कर्मचारियों की हड़ताल से बिजली संकट गहराता जा रहा है। जिसका असर लखनऊ, गोरखपुर, बहराइच, गोंडा, बलरामपुर, बस्ती, सीतापुर, आजमगढ़, अयोध्या, मिर्जापुर समेत कई जिलों में देखा जा रहा है। इस हड़ताल के खिलाफ सरकार भी बेबस नजर आ रही है। सैंकड़ों कर्मचारियों पर कार्रवाई के बाद भी नतीजा सिफर ही निकला है। यहां तक सरकार की तरफ से दिये गये अल्टीमेटम की समय सीमा भी समाप्त हो गई। उसके बाद भी बिजली कर्मचारी नहीं माने।

इसके अलावा शनिवार रात ऊर्जा मंत्री और विद्युत कर्मचारी संघर्ष समिति के बीच चली ढाई घंटे की लंबी वार्ता का भी कुछ हल नहीं निकला। उसके बाद आज यानी रविवार को एक बार फिर ऊर्जा मंत्री और विद्युत कर्मचारी संघर्ष समिति के नेताओं के बीच वार्ता होनी है,लेकिन उससे पहले ही बिजली कर्मचारियों ने साफ कर दिया है कि उनके खिलाफ सरकार ने कोई कार्रवाई की तो हड़ताल अनिश्चितकालीन होगी ही। साथ ही जेल भरो आंदोलन भी शुरू हो जायेगा।

दरअसल, शनिवार को ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने प्रेसवार्ता कर 1332 आउटसोर्सिंग कर्मचारियों को नौकरी से निकालने और करीब 22 बिजलीकर्मी नेताओं पर एस्मा लगाने की बात की। बिजली  कर्मचारियों आक्रोशित हो उठे। कर्मचारियों ने 72 घंटे की हड़ताल को अनिश्चित कालीन हड़ताल में तब्दील करने की धमकी दे डाली। उसके बाद ऊर्जा मंत्री ने रात के समय कर्मचारी नेताओं को वार्ता के लिए बुलाया, लेकिन बातचीत के दौरान कर्मचारी नेता, बिजली कर्मियेां की मांगों को माने जाने और दर्ज किये गये मुकदमे वापस लेने की मांग पर अड़ गये। तत्काल मांगे न माने जाने पर कर्मचारी नेता वहां से चले गये। जिसके बाद शनिवार को एक बार फिर ऊर्जा मंत्री और विद्युत कर्मचारी संघर्ष समिति के बीच बात होने की बात सामने आ रही है। इस वार्ता के बाद ही आगे का रास्ता साफ होगा।

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